रिक्शा चालक ने आरक्षक और थाना प्रभारी पर लगाए आरोप, पुलिस की कार्यशैली पर उठे सवाल

सक्ती: थाने में रिक्शा चालक से शराब की एवज में 17 हजार लेने का मामला सामने आया है। रिक्शा चालक ने एसडीओपी को पत्र लिखकर अपने पैसे वापस करने की मांग की है। रिक्शा चालक ने थाने के एक आरक्षक पर आरोप लगाया है कि उसने डरा धमका कर उससे पैसे की मांग की है। पुलिस की इस प्रकार की कार्यशैली ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं। जिस प्रकार वायरल वीडियो में पीड़ित परिवार पुलिस पर आरोप लगा रहा है उससे स्थानीय थाने में पदस्थ लोगों की भूमिका संदेह के दायरे में आ गई है। मामला उच्चाधिकारियों की संज्ञान में आ चुका है अब देखना होगा की ऐसे पुलिसकर्मी पर वे क्या एक्शन लेते हैं।

 

 

मामला 21 अक्टूबर को शाम 6:30 बजे के आसपास का बताया जा रहा है। रिक्शा चालक जयप्रकाश रात्रे अपने घर में बैठकर शराब पी रहा था उसी समय पुलिसकर्मी उसे पकड़कर थाने ले आए और छोड़ने के एवज में 17 हजार रुपयों की मांग की। ग़रीबी की हालत बताने पर भी नहीं मानने की बात कही। रिक्शा चालक ने आरोप लगाया है कि जिन पुलिसकर्मियों के द्वारा पैसा मांगा जा रहा था वह कह रहे थे कि टीआई के कहने पर ही इतना पैसा मांग रहे हैं। किसी प्रकार से पैसे की व्यवस्था कर मेरी पत्नी और बेटे थाना पहुंचे और थाने में डेढ़ घंटे करीब बैठा कर छोड़ा गया। अपनी तंगहाल स्थिति के बारे में बताते हुए उसने एसडीओपी को पत्र में कहा है कि समूह के नाम से उसकी पत्नी ने छत लगाने के लिए पैसा निकाला था जिसे वह पुलिस वालों को दिया है। पुलिस अधिकारी से निवेदन करते हुए उसने कहा कि मेरा पैसा दिलवा दो साहब बरसात में मेरा परिवार बहुत दुखी होता है। मेरे घर की छत बन जाएगी। नम आंखों से निवेदन करते हुए रिक्शा चालक जयप्रकाश ने कहा कि मोर विनती ला सुन लेवा साहब।

 

 

पुलिस पर गंभीर आरोप-

 

पुलिस आरक्षक एवं थाना प्रभारी पर डरा धमकाकर पैसे मांगने का आरोप लगा है। अब देखना होगा कि आज आरोपों पर उच्च अधिकारी क्या निर्णय लेते हैं और क्या कार्यवाही करते हैं। विडंबना ही कहें कि सक्ती जिला बनने के बाद से पुलिसिया कार्यवाही में जिस कसावट की उम्मीद की जा रही थी वैसा बिल्कुल नहीं हुआ बल्कि गैर कानूनी काम करने वालों के हौसले बढ़ गए।

 

टीआई संदेह के दायरे में –

 

 

विश्वसनीय सूत्रों से जानकारी मिलती है कि अवैध शराब, जुआ और सट्टा के नाम पर अवैध उगाही का धंधा काफी फल फूल गया है। ऐसा नहीं है इन मामलों पर टी आई गंभीर नहीं है वे जाते हैं और मामले को स्पॉट पर निपटा कर आ जाते हैं। ऐसे कई मामलों में जानकारी मिल चुकी है। थाना प्रभारी से रिक्शा चालक परिवार के द्वारा लगाए गए आरोपों पर उनका पक्ष लेना चाहा तो वे टाल मटोल करते हुए जवाब तक देना जरूरी नहीं समझे। बताया जा रहा है कि उनके नेतृत्व में आरक्षकों के हौसले सातवे आसमान पर है और जमकर उगाही हो रही है।

 

क्या होगी कार्यवाही या दबा दिया जाएगा गंभीर मामला ?

 

 

मामले में एसडीओपी तस्लीम आरिफ ने वीडियो की जांच कर आगे की कार्यवाही करने की बात कही है। लेकिन अब यह देखना लाजमी होगा की ऐसे उगाही करने वाले पुलिसकर्मियों को बचाने का काम होता है या कार्यवाही कर उनकी करनी पर दंड दिया जाता है। जिलेवासी उम्मीद लगाए बैठे हैं कि आखिरकार कब क्षेत्र में गैरकानूनी कार्य करने वालों पर पुलिस शिकंजा कसने में सफल हो पाएगी। सक्ती के जिला बनने के बाद पहली बार इस प्रकार का मामला सामने आया है जिस पर थाना प्रभारी एवं आरक्षक पर सीधे पैसे लेने का आरोप लगा है। इस पर कितनी त्वरित कार्यवाही होगी अब यह देखना दिलचस्प होगा।

 

 

 

वीडियो हमने भी देखा है। मामले की जांच कराकर जो भी इस मामले में संलिप्त है उसके विरूद्ध कार्यवाही की जाएगी।

तसलीम आरिफ
एसडीओपी, सक्ती

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क्या सक्ती जिला अपनी आशानुरूप जिला स्तर का स्वरूप प्राप्त कर रहा है ??

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