
श्रीमती गीता राणा सिंह ने लगाया पुलिस पर आरोप, मेरे समर्थकों को जबरन फंसाया गया, मेरी शिकायत पर नहीं की जा रही कोई कार्रवाई,

सक्ती: लगभग एक माह पूर्व हुए महल में मचे घमासान और विवाद की घटना पर आज नगर के हटरी धर्मशाला में गीता राणा सिंह के द्वारा एक प्रेसवार्ता का आयोजन किया गया।
अपनी बात मीडिया के सामने रखते हुए उन्होंने कहा कि मैं स्वर्गीय राजा सुरेंद्र बहादुर सिंह की धर्मपत्नी हूँ और इस नाते मैं ही उनकी इकलौती वारिस हूँ। आज मुझको मेरे ही महल में घुसने नहीं दिया जा रहा है और मुझको मेरे अधिकार से वंचित किया जा रहा है।
गीताराणा सिंह ने कहा कि मेरे पास न्यायालय का स्पष्ट आदेश है कि मुझको मेरे घर में रहने दिया जाए,इस आदेश के परिपालन में मैं अपने घर पीला महल अपने कुछ समर्थकों और कर्मचारियों के साथ रहने गई थी लेकिन वहां मौजूद महल के व्यक्तियों के द्वारा मुझको महल में घुसने नहीं दिया गया और बाहर अहाते में ही रोक दिया गया। महल में पूर्व से मौजूद व्यक्तियों के द्वारा मेरे कर्मचारियों एवं मेरे ऊपर हमला कर दिया गया। मेरे द्वारा पुलिस को सूचना दी गई पर पुलिस के द्वारा समय पर संज्ञान नहीं लिया गया और घटना कारित करने वालों को छोड़कर उलट मेरे समर्थकों को जो कि घटना के समय वहां उपस्थित नहीं थे उनके विरुद्ध कार्रवाई कर दी गई है।
गीताराणा सिंह ने बताया कि पीला महल में दत्तक पुत्र से सम्बंधित विवाद चल रहा है और दत्तक पुत्र के पास जो गोदनामा है वह फर्जी एवं अमान्य है इस गोदनामा के विषय में माननीय न्यायालय में प्रकरण भी दर्ज है और बहुत जल्द फैसला भी सामने आने की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि फिलहाल वह सफेद महल में निवास कर रही हैं और पीला महल का उनका कमरा तहस नहस कर दिया गया है।
एकपक्षीय कार्रवाई के विरुद्ध उन्होंने कहा कि मेरे साथ अन्याय हो रहा है जिसके लिए मैं कानूनी लड़ाई लड़ रही हूं और आगे भी बड़े स्तर पर अपनी लड़ाई लड़ती रहूंगी।
प्रेसवार्ता में उनके अधिवक्ता दिगम्बर प्रसाद चौबे,सफेद महल की बहुरानी दिव्या राणा सिंह भी मौजूद रहीं।
पत्रकार वार्ता में रमेश चंद्र अग्रवाल ने भी रखा अपना पक्ष
हटरी धर्मशाला में श्रीमती गीताराणा सिंह द्वारा बुलाई गई पत्रकार वार्ता के दौरान राजकुमार अग्रवाल के बड़े भाई रमेश चंद्र अग्रवाल ने भी उपस्थित पत्रकारों को बताया कि उनका छोटा भाई 25 जून को सुबह से लेकर रात्रि 12:00 बजे तक घर पर ही था, एवं उनकी माता जी की तबीयत उस दिन खराब थी, जिसके कारण उनका पूरा परिवार उनके पुराने पैतृक घर में ही एकत्रित हुआ था एवं राजकुमार अग्रवाल का नाम अनावश्यक रूप से इस मामले में घसीटा गया है, जिसके संबंध में उन्होंने पुलिस प्रशासन को अवगत भी कराया है, रमेश चंद्र अग्रवाल ने पत्रकारों को बताया कि राजा सुरेंद्र बहादुर सिंह के साथ उनके पूज्य स्वर्गीय पिता श्री मांगेराम अग्रवाल के साथ पारिवारिक संबंध रहे हैं, तथा राजा सुरेंद्र बहादुर सिंह जब भी उनके घर पर आते थे वे पूरी आत्मीयता के साथ उनके परिवार जनों से मुलाकात करते थे, एवं उनका छोटा भाई राजकुमार अग्रवाल भी राजा सुरेंद्र बहादुर सिंह के साथ पारिवारिक रूप से संबंध होने के नाते श्रीमती गीताराणा सिंह का भी समय-समय पर सहयोग करता था।



